
Navratri 2025 Maa Simsa: हिमाचल के मंडी जिले के सिमस गांव में एक ऐसा रहस्यमई मंदिर है, जहां संतानदात्री मां सिमसा निसंतान को सन्तान देती है, ऐसी मान्यता है. कहते हैं बैजनाथ से 25 किलोमीटर दूर इस मंदिर में मां सिमसा साक्षात रूप से विराजमान है.
जो महिलाओं को सूनी गोद भरने का वर देती हैं. मान्यताओं के अनुसार, अगर कोई महिला मंदिर के फर्श पर भक्तिभाव और दृढ़ विश्वास से सोती है तो माता सिमसा उसके सपने में आकर संतान प्राप्ति का आशीर्वाद देती हैं.
संतान दात्री मंदिर का रहस्य
नवरात्र के दिनों में निसंतान महिलाएं मंदिर परिसर के फर्श पर सोती है. मां सिमसा उन्हें संतान का आशीर्वाद देती हैं. संतान की आस लिए सैंकड़ों महिलाएं फर्श पर सोती हैं. धार्मिक मान्यता है कि मां उन्हें स्वप्न में दर्शन देकर यदि फल के रूप में केला, संतरा, सेब और अमरूद दे तो पुत्ररत्न की प्राप्ति होती है, जबकि पुत्री के लिए मिर्च, भिंडी और लौकी आदि फल स्वप्न में आकर देती है.
ऐसा भी कहा जाता है कि यदि किसी को सन्तान का योग न हो तो उन महिलाओं को सपने में रस्सी, दराती, या लकड़ी की कोई ठोस वस्तु देती है. यह मंदिर संतान दात्री के नाम से भी प्रसिद्ध है. मां यहां पिंडी के रूप में अपने भक्तों को दर्शन देती हैं. मंदिर के पास एक बावड़ी भी है, जहां स्नान करने के बाद ही महिलाएं मंदिर के बरामदे में सोती हैं, ताकि सपने में आकर मां उनको संतान का वर दें.
कहते हैं सपने में वर मिल जाने के बाद भी यदि महिला सोई रहे तो उसको चींटियां काटने लगती हैं और शरीर पर लाल निशान पड़ने लगते हैं. फिर उनको जागना ही पड़ता है.
मंदिर के नज़दीक एक चमत्कारी शीला भी मौजूद है. कहते हैं इस शीला को ताकत लगाकर दोनों हाथों से हिलाने पर भी नहीं हिलती है, लेकिन छोटी उंगली से हिलाने पर ये हिलने लगती है. मां के इस चमत्कार से वैज्ञानिक भी हैरान हैं. निःसंतान महिलाएं सन्तान प्राप्ति के लिए मंदिर में दूर दूर से आती हैं. इस मंदिर की महिमा दिन प्रतिदिन फैल रही है.
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